उरई(जालौन): जिलाधिकारी चाँदनी सिंह ने रामपुरा विकासखण्ड के ग्राम कंजोसा में सामुदायिक पोषण वाटिका के लाभार्थियों के साथ संवाद का आयोजन किया गया। उन्होंने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि इस क्षेत्र में संवदेनशीलता की बहुत ज्यादा आवश्यकता है, पिछले 3 सालों से इलाके में लगातार बाढ़ आ रही है किसान केवल एक ही फसल ले पा रहे है। इसलिए अभी तत्काल आवश्यकता है कि इस क्षेत्र के लिए अलग रणनीति बनाकर कार्य किए जाएं। उन्होंने ग्राम पंचायत सचिव,लेखपाल, नायब तहसीलदार को निर्देशित करते हुए कहा कि इस ग्राम पंचायत में कैंप लगाकर केंद्र सरकार द्वारा संचालित सभी योजनाओं से संबंधित स्टॉल लगाकर पात्र लाभार्थियों को लाभान्वित किया जाए।
उन्होंने पोषण वाटिका से जुडी महिलाओं के कार्य की प्रशंसा करते हुए कहा कि इस तरह के प्रयास को पूरे जनपद में फैलाने की आवश्यकता है। इस कार्यक्रम में परमार्थ संस्थान अपना महत्वपूर्ण सहयोग प्रदान कर रही है। अब आवश्यकता है कि जैविक रूप से पैदा होने वाली इन सब्जियों को मिड-डे मील, आंगनवाडी एवं अन्य जगह आपूर्ति की जाये जहरमुक्त उत्पाद स्वास्थ्य के लिए जहां एक तरफ बेहतर है वही जलवायु परितर्वन के प्रभाव को रोकने में भी सहायक है। शीघ्र ही उन्होंने ग्राम सभा की भूमि में सामुदायिक पोषण वाटिका स्थापित करने के लिए सम्बंधित विभागों को दिशा-निर्देश दिये और बाढ प्रभावित परिवारों की सहायता के लिए तत्काल वहां समस्या निवारक कैम्प आयोजित करने के दिशा निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि आपके द्वारा जैविक खाद से सब्जियों फूल आदि का उत्पादन करते हैं आने वाले दिनों में इसके महत्व को समझकर सभी लोग जैविक खाद से होने वाली सब्जियों का ही सेवन करेंगे। उन्होंने कहा कि जनपद में ही नहीं अन्य जनपदों में भी आप को पहचान दिलाने का कार्य किया जाएगा और जैविक फसलों को बढ़ावा भी दिया जाएगा। मुख्य विकास अधिकारी डॉ. अभय कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि सामुदायिक पोषण वाटिका कार्यक्रम सराहनीय प्रयास है। इसको बढावा देने के लिए आजीविका मिशन से सहायता प्रदान की जायेगी। जो समस्याऐं निकलकर आयी उनका प्राथमिकता से समाधान किया जायेगा, इसके लिए सम्बधित अधिकारी समस्या ग्रसित गांव में कैम्प करेगें। सामुदायिक पोषण वाटिका से जुडी पूजा, विटोली, गुडडी बेवी, सुषमा, पुष्पा, लाली, मीरा के द्वारा सामुदायिक पोषण से हो रहे फायदों के बारे में विस्तार से जिलाधिकारी को अवगत कराया। कार्यक्रम के दौरान जिलाधिकारी के द्वारा सामुदायिक पोषण वाटिका का निरीक्षण किया गया, एवं इसको लगाने की विधि के बारे में महिलाओ के साथ चर्चा की। पोषण वाटिका में जीवामृत, घनामृत, अमृत पानी आदि से हो रही जैविक खेती के तरीकों के बारे में समझा। विकासखण्ड रामपुरा के ब्लॉक प्रमुख अजीत सिंह सेंगर ने कार्यक्रम में धन्यवाद ज्ञापित करते हुए कहा कि समस्या ग्रसित आपदा प्रभावित क्षेत्र में जनपद के आखिरी गांव में जिलाधिकारी ने आकर हम सबका उत्साहवर्द्धन किया है।परमार्थ संस्थान के प्रमुख संजय सिंह ने कहा कि परमार्थ संस्थान आपदा प्रभावित परिवारों की मदद के लिए निरन्तर सक्रिय है। संस्थान के द्वारा क्षेत्र में पोषण वाटिका अभियान एवं विभिन्न तरह के कार्यक्रमों का संचालन करने का प्रयास किया जा रहा है। संस्थान जल संरक्षण को लेकर भी लोगों को साक्षर कर रहा है। इस अवसर पर नायाब तहसीलदार, ब्लॉक रामपुरा के एडीओ, विटोरा के ग्राम प्रधान आदि सहित महिलाएं उपस्थित रहे।